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गाइड संसाधन

चुनाव कवरेज में इन्वेस्टिगेटिव रिपोर्टिंग पर जीआईजेएन की गाइड

यह गाइड ग्लोबल इन्वेस्टिगेटिव जर्नलिज्म नेटवर्क के स्टाफ रिपोर्टर रोवन फिलिप द्वारा लिखी गई है। इसका संपादन  निकोलिया अपोस्टोलो, रीड रिचर्डसन और लौरा डिक्सन द्वारा किया गया है। चित्रण मार्सेले लोउ का है। [abcf-grid-gallery-custom-links id=”508933″]

संसाधन

आर्थिक असमानता पर रिपोर्टिंग हेतु कुछ टिप्स

अन-इक्वल सीन्स नामक एक गैर-लाभकारी संगठन सामाजिक न्याय पर काम करता है। उसने ड्रोन इमेजरी का उपयोग करके असमानता दिखाने वाली तस्वीरें ली हैं। इस संगठन ने शहरों में लंबे समय से चली आ रही असमानता के बारे में व्यापक जागरूकता पैदा की है और नीतिगत समाधान पर संवाद शुरू किया है।

समाचार और विश्लेषण सुरक्षा और बचाव

आपके पसंदीदा ट्रांसक्रिप्शन टूल कितने सुरक्षित हैं?

यदि आप संवेदनशील सामग्री के साथ काम कर रहे हैं, तो आपकी रिकॉर्डिंग किसी को जोखिम में डाल सकती हैं। उनके सार्वजनिक होने या अधिकारियों तक पहुंचने पर आपके स्रोत तथा अन्य लोगों को खतरा है। इसलिए, हमारा सुझाव है कि उस डेटा तक किसकी पहुंच हो, इस पर आपको नियंत्रण रखना होगा। यदि आप किसी संपादक के साथ या किसी एसाइनमेंट के तहत काम कर रहे हैं, और आपकी रिकॉर्डिंग विशेष रूप से संवेदनशील है, तो रिकॉर्डिंग की सुरक्षा के कारण हस्तलिखित ट्रांसक्रिप्शन पर जोर दें। इसके लिए अपने संपादक से सहायता मांगें।

क्रियाविधि डेटा पत्रकारिता समाचार और विश्लेषण

सरकारी डेटा न मिले, तो घृणा आधारित अपराधों की रिपोर्टिंग कैसे करें?

क्राउड-सोर्सिंग पर आधारित ऐसी परियोजनाओं में कई तरह की चुनौतियां भी होती हैं। सूचनाओं एवं डेटा की गुणवत्ता सुनिश्चित करना एक बड़ा काम है। प्रविष्टियों का दोहराव, रोकना तथा हर रिपोर्ट का सत्यापन करना भी आसान नहीं है। परिणामों की व्याख्या में भी किसी पूर्वाग्रह से बचना एक बड़ी चुनौती है। ऐसे जोखिम के प्रति सचेत रहते हुए यह कोशिश करने लायक है।

डेटा पत्रकारिता

पत्रकारिता की नई ताक़त है आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) लेकिन दायित्व भी कम नहीं

प्रत्येक एआई टूल को हरेक मीडिया संस्थान की खास जरूरत के अनुसार सेट करना होगा। किसी मशीन को आपकी पत्रकारिता के  मूल्यों और दृष्टिकोण की जानकारी नहीं है। कोई मशीन यह तय नहीं कर सकती कि आपके लिए कौन-से मूल्य महत्वपूर्ण हैं। यह एक मानवीय निर्णय है।

रिपोर्टिंग टूल्स और टिप्स

कोविड-19 पर रिपोर्टिंग के कुछ विशेष टिप्स

“हम सिर्फ कोरोना महामारी से नहीं लड़ रहे हैं बल्कि हम ‘इन्फोडेमिक‘ यानी झूठ की महामारी से भी लड़ना पड़ रहा है।“ 15 फरवरी को म्यूनिख सुरक्षा सम्मेलन में डब्ल्यूएचओ के महानिदेशक टेड्रोस अदनोम गेब्रेयेसस ने कहा। उन्होंने कहा कि गलत सूचनाओं के इस युग में ऑनलाइन झूठ और साजिश के सिद्धांत से बचना होगा। पत्रकारों को ऐसी गलत सूचनाओं को खारिज करने में मदद करनी चाहिए।

जीआईजेएन वेबिनार: स्वास्थ्य और जवाबदेही: कोविड संबंधी खरीदी पर इनवेस्टिगेटिव रिपोर्टिंग कैसे करें

महामारी के पिछले दो वर्षों में सरकारों के स्वास्थ्य संबंधी खर्चों में बेतहाशा वृद्धि हुई है। सरकारों ने अपने स्वास्थ्य बजट का बहुत बड़ा हिस्सा वैक्सीन खरीदने में लगाया। इसके पहले सैनिटेशन मशीनरी, अस्थाई आइसोलेशन सेंटर, नए ऑक्सीजन प्लांट और इमरजेंसी सेवाओं पर भी बेतहाशा खर्च किया गया है। महामारी से निपटने के लिए काफी बड़ी राशि के कॉन्ट्रैक्ट या टेंडर रातों-रात आवंटित किए गए। सरकारी धन के व्यय में पारदर्शिता और जवाबदेही होना मूलभूत आवश्यकता है।

टिपशीट संसाधन

डेटा जर्नलिज्म: संपादकों के लिए टिप्स

यदि एक रिपोर्टर को किसी स्रोत से जानकारी मिलती है कि इमारतों में आग लगने की घटनाएं पिछले साल की तुलना में 25 फीसदी बढ़ गई हैं, तो संपादक उसे ऐसे आंकड़ों की तलाश में जाने के लिए कह सकते हैं जो इस तरह के सवालों के जवाब देते हों : “क्या ये घटनाएं मुख्यतः घरों में आग लगने की थीं? क्या ऐसी घटनाओं में हुई तेज वृद्धि के पीछे लोगों का धूम्रपान करना या स्पेस हीटर लगाने जैसा कोई कारण मौजूद था? ”

गाइड संसाधन

जीआईजेएन गाइड: महिला पत्रकारों के लिए संसाधनों का संकलन

महिला पत्रकारों को अपना काम करते समय कई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। जीआईजेएन ने दुनिया भर में हमारी महिला सहयोगियों की मदद के लिए उपयोगी संसाधन का यह संकलन तैयार किया है। इसमें ऑनलाइन उत्पीड़न से बचाव, कार्यस्थल पर भेदभाव और लिंग आधारित हिंसा जैसे मुद्दों से निपटने के लिए नेटवर्क, संसाधन और […]

रिपोर्टिंग टूल्स और टिप्स

जीआईजेएन टूलबॉक्स: अवैध धन पर खोजी रिपोर्टिंग के तीन नए उपकरण

‘ग्रे-लिस्ट ट्रेस‘  नामक एक निजी फर्म ने संपत्ति पर नजर रखने में विशेषज्ञता हासिल की है। इसकी वेबसाइट के अनुसार यह गोपनीय बैंक खातों, धोखाधड़ी और भ्रष्टाचार से कमाई जैसी जानकारियां बिल्कुल नैतिक और कानूनी तरीके से हासिल करती है। इसका एल्गोरिदम किसी बैंक के डेटा नियमों का उल्लंघन नहीं करता है। यह किसी खाता में शेष बची राशि का पता लगाने की कोशिश भी नहीं करता है। यह किसी व्यक्ति द्वारा अलग-अलग बैंकों के लेनदेन प्रभागों के बीच पूर्व में किए गए संचार की जांच करके खातों के संभावित अस्तित्व का खुलासा करता है।